पहलगाम आतंकी हमले पर एकता तिवारी से NIA की पूछताछ:

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महत्वपूर्ण सुराग मिलने की उम्मीद

जौनपुर (उत्तर प्रदेश): जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को लेकर राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने जौनपुर की एकता तिवारी से संपर्क किया। एकता, जो एक पूर्व बैंककर्मी और मॉडल हैं, ने मीडिया में दिए अपने बयानों में इस हमले से संबंधित अहम सुराग प्रस्तुत किए थे।

पहलगाम हमला और एकता तिवारी का बयान:
20 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में पर्यटकों पर आतंकी हमला हुआ था, जिसमें कई लोगों की जान गई और दर्जनों घायल हुए। इस घटना के बाद, एकता तिवारी ने मीडिया में खुलासा किया कि उन्होंने हमले से पहले और बाद की घटनाओं से जुड़े कई फोटोग्राफ्स और वीडियो कैद किए थे। उन्होंने यह भी दावा किया कि एनआईए द्वारा जारी किए गए स्केच में से दो आतंकियों को वह पहचान सकती हैं।

NIA का फोन और पूछताछ:
गुरुवार शाम 5:30 बजे, एनआईए के अधिकारियों ने एकता तिवारी से फोन पर बातचीत की। यह बातचीत लगभग चार मिनट तक चली, जिसमें अधिकारियों ने हमले के दिन की घटनाओं के बारे में विस्तार से जानकारी ली। उन्होंने एकता से घटनास्थल पर ली गई तस्वीरें और वीडियो भी मांगे। एकता ने तुरंत ही जांच एजेंसी को सभी उपलब्ध सामग्री साझा करने का आश्वासन दिया।

एकता का मीडिया से बयान:
एकता तिवारी ने मीडिया को बताया, “एनआईए की टीम ने मुझसे 20 अप्रैल की घटनाओं के बारे में जानकारी मांगी। मैंने जो कुछ देखा और अनुभव किया, उसे साझा किया है। मैंने हमले से जुड़े दो आतंकियों को पहचानने का दावा किया है। मैं चाहती हूं कि इस मामले में सच्चाई सामने आए और दोषियों को कड़ी सजा मिले। मेरी कोशिश है कि मेरी जानकारी से जांच एजेंसियों को मदद मिले।”

NIA की सक्रियता:
एनआईए इस मामले को लेकर काफी गंभीर है। उन्होंने एकता से उनका लोकेशन भी साझा करने को कहा है ताकि आवश्यकता पड़ने पर उनसे व्यक्तिगत रूप से पूछताछ की जा सके। जांच एजेंसी इस बात की पुष्टि करने में जुटी है कि एकता द्वारा दी गई जानकारी आतंकी नेटवर्क की पहचान और उनकी गतिविधियों पर रोक लगाने में किस हद तक सहायक हो सकती है।

हमले का अब तक का परिदृश्य:
पहलगाम हमले को लेकर कई सुराग जुटाए जा चुके हैं। स्थानीय और केंद्रीय जांच एजेंसियां इस घटना में शामिल आतंकियों की तलाश में जुटी हुई हैं। एनआईए ने इससे पहले आतंकी संगठन से जुड़े तीन संदिग्धों के स्केच जारी किए थे। एकता द्वारा दी गई जानकारी इन संदिग्धों की पहचान को और पुख्ता कर सकती है।

निष्कर्ष:
एकता तिवारी की ओर से दी गई जानकारी एनआईए की जांच को एक नई दिशा दे सकती है। एकता का दावा, उनकी फोटोग्राफ्स और वीडियो आतंकी गतिविधियों की परतें खोलने में महत्वपूर्ण साबित हो सकते हैं। अब यह देखना बाकी है कि एनआईए इस मामले में आगे क्या कदम उठाती है।

देश की सुरक्षा के प्रति सजगता:
एकता तिवारी जैसे जागरूक नागरिकों के योगदान से जांच एजेंसियों को अपराध और आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में नई ताकत मिलती है। इस मामले ने एक बार फिर यह साबित किया है कि हर नागरिक की सतर्कता देश की सुरक्षा में अहम भूमिका निभा सकती है।

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