कश्मीर के पहलगाम में 28 मासूम हिंदुओं की निंदनीय, अमानवीय और क्रूर हत्या के बाद देशभर में आक्रोश फैल गया है। इस जघन्य हत्याकांड के विरोध में आज जौनपुर में विभिन्न वर्गों के नागरिकों ने एकजुट होकर विरोध प्रदर्शन किया। यह प्रदर्शन ऐतिहासिक लोहिया पार्क में आयोजित किया गया, जिसमें सामाजिक, राजनीतिक, और व्यावसायिक क्षेत्र से जुड़े लोग भारी संख्या में उपस्थित हुए।
प्रदर्शन का आयोजन क्षेत्र के प्रबुद्ध नागरिकों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने किया था। इस अवसर पर वक्ताओं ने सरकार से हत्यारों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने और पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाने की मांग की।
विरोध प्रदर्शन में वक्ताओं का आक्रोश
विरोध सभा में वक्ताओं ने घटना की घोर निंदा करते हुए इसे मानवता के खिलाफ एक घिनौना कृत्य बताया।
देवेश गुप्ता, एक सामाजिक कार्यकर्ता, ने कहा कि यह हत्याकांड केवल एक समुदाय पर हमला नहीं है, बल्कि यह देश की एकता और अखंडता को चुनौती देने का प्रयास है। डॉ. सुशील अग्रहरि ने सरकार से मांग की कि वह दोषियों को तत्काल गिरफ्तार कर कड़ी सजा दे, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोका जा सके।
अरिदमन सिंह ने कहा कि यह घटना समाज की सुरक्षा और सामूहिक जिम्मेदारी को लेकर गंभीर सवाल खड़े करती है।
प्रदीप तिवारी और सत्येंद्र अग्रहरि ने पीड़ित परिवारों को हरसंभव सहायता देने की बात कही।
सभी वर्गों की भागीदारी
इस प्रदर्शन में समाज के हर वर्ग के लोग शामिल हुए। फार्मा सेक्टर, मेडिकल, राजनीतिक, और व्यापारिक वर्ग से जुड़े लोग भी भारी संख्या में उपस्थित थे। प्रमुख रूप से शामिल होने वालों में धर्मेंद्र यादव, रणजीत सिंह, संतोष सिंह, आशीष सिंह, शैलेंद्र सिंह, अरुण श्रीवास्तव, सुशील मिश्रा, संजय सिंघानिया, और सुशील श्रीवास्तव का नाम उल्लेखनीय है।
सरकार से मांग
प्रदर्शनकारियों ने यह मांग की:
1.दोषियों को तुरंत गिरफ्तार किया जाए।
2.इस घटना की उच्चस्तरीय जांच कराई जाए।
3.पीड़ित परिवारों को मुआवजा और सुरक्षा प्रदान की जाए।
4.कश्मीर घाटी में अल्पसंख्यक समुदाय की सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाए जाएं।
भावनाओं की अभिव्यक्ति
प्रदर्शन के दौरान नारेबाजी करते हुए सभी ने एक स्वर में इस घटना की निंदा की। उपस्थित लोगों ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि यदि इस तरह की घटनाओं पर तुरंत रोक नहीं लगाई गई, तो यह देश की शांति और सौहार्द के लिए खतरा बन सकती हैं।
यह प्रदर्शन न केवल जौनपुर बल्कि पूरे देश के नागरिकों की आवाज को दर्शाता है, जो मासूमों के लिए न्याय और सुरक्षा की मांग कर रहे हैं।