मनीष श्रीवास्तव जौनपुर
युवा पीढ़ी का भविष्य सिगरेट के जहरीले धुएं में धीरे-धीरे राख होता जा रहा है। किशोर से लेकर कॉलेज जाने वाले छात्र तक तंबाकू और धूम्रपान की गिरफ्त में बुरी तरह फंस चुके हैं। स्थिति इतनी भयावह है कि सड़क किनारे की चाय की दुकानों और बियर बार में कम उम्र के युवा भी सिगरेट का कश लगाते आसानी से देखे जा सकते हैं।
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि धूम्रपान सिर्फ एक लत नहीं, बल्कि मौत की सीढ़ी है। लगातार सेवन से फेफड़ों का कैंसर, दिल की बीमारी और स्ट्रोक जैसी जानलेवा दिक्कतें बढ़ रही हैं। इसके बावजूद युवा वर्ग इसे स्टेटस सिंबल और तनाव मिटाने का साधन मानकर अपनी जिंदगी को बर्बादी की ओर धकेल रहा है।
सामाजिक कार्यकर्ताओं ने चेताया है कि अगर समय रहते इस आदत पर लगाम नहीं लगी तो आने वाले सालों में एक पूरी पीढ़ी गंभीर संकट में होगी।
शहर में खुलेआम बिकती सिगरेट और तंबाकू उत्पाद प्रशासन की उदासीनता को भी उजागर करते हैं। कम उम्र के युवाओं को इसकी लत से बचाने के लिए सख्त कार्रवाई और जागरूकता की बेहद ज़रूरत है।