अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के तत्वावधान में कायस्थ समाज ने किया भव्य आयोजन
जौनपुर। अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के तत्वावधान में रूहट्टा स्थित चित्रगुप्त धर्मशाला में कलम-दवात के देवता भगवान चित्रगुप्त महाराज की भव्य पूजा-अर्चना बड़े ही श्रद्धा और विधि-विधान के साथ संपन्न हुई।
कार्यक्रम की शुरुआत भगवान चित्रगुप्त की प्रतिमा पर माल्यार्पण व दीप प्रज्वलन के साथ हुई। इसके उपरांत आरती एवं सामूहिक पूजन कर उपस्थित कायस्थ समाज के लोगों ने अपने आराध्य देव से सुख, समृद्धि और समाज की उन्नति की कामना की।
भगवान चित्रगुप्त ब्रह्मांड के लेखा-जोखा के देवता — राकेश श्रीवास्तव
इस अवसर पर प्रदेश महासचिव एवं जिलाध्यक्ष राकेश श्रीवास्तव ने कहा कि “भगवान चित्रगुप्त ब्रह्मा की काया से उत्पन्न हुए और संपूर्ण ब्रह्मांड के कर्मों का लेखा-जोखा रखते हैं, इसी कारण उन्हें कलम-दवात का देवता कहा जाता है।”
उन्होंने बताया कि भगवान चित्रगुप्त की दो पत्नियाँ — शोभावती (इरावती) और नंदिनी (दक्षिणा) थीं, जिनसे कुल 12 पुत्र हुए। इन्हीं बारह पुत्रों के नाम पर कायस्थ समाज की 12 प्रमुख उपजातियाँ बनीं।
उन्होंने यह भी कहा कि चित्रगुप्त के बारहों पुत्रों का विवाह नागराज वासुकि की बारह कन्याओं से हुआ था, इसीलिए कायस्थों की ननिहाल नागवंश मानी जाती है।
अपने उद्बोधन के अंत में श्री श्रीवास्तव ने प्रदेश व जनपद के सभी कायस्थ समाज के लोगों को भगवान चित्रगुप्त की पूजा पर हार्दिक शुभकामनाएं एवं बधाई दी।
कार्यक्रम में बड़ी संख्या में समाजजन रहे उपस्थित
पूजन कार्यक्रम में संरक्षक आनंद मोहन श्रीवास्तव, इन्द्रसेन श्रीवास्तव, एस.सी. लाल, श्यामरतन श्रीवास्तव, जय आनंद, प्रमोद श्रीवास्तव (दादा), शशि श्रीवास्तव (गुड्डू), सरोज श्रीवास्तव, राजेश श्रीवास्तव (वेस्टीज), रवि श्रीवास्तव, धीरज श्रीवास्तव, राजेश किशोर, पंकज श्रीवास्तव (हैप्पी), अवधेश श्रीवास्तव, शरद श्रीवास्तव, प्रदीप डी.ओ., संजय अस्थाना, अमित निगम, विजय श्रीवास्तव, रितेश श्रीवास्तव, प्रदीप अस्थाना, अखिलेश श्रीवास्तव, मोहित श्रीवास्तव, सचिन श्रीवास्तव, रोहित श्रीवास्तव, शगुन श्रीवास्तव, अमन श्रीवास्तव, साहिल श्रीवास्तव, कुशल श्रीवास्तव, ईशु श्रीवास्तव और आदित्य श्रीवास्तव सहित बड़ी संख्या में कायस्थ समाज के सदस्य उपस्थित रहे।
कार्यक्रम का संचालन महासचिव संजय अस्थाना ने किया।
