अधिकारियों की उदासीनता स्वच्छता मिशन अभियान को दिखा रहे ठेंगा
जौनपुर। केराकत तहसील दिवस सभागार की सीढ़ियों व ऊपरी तल के शौचालय के साथ साथ इर्द गिर्द फैली गंदगी की खबर “पूर्वांचल लाईफ” प्रमुखता से प्राकाशिक कर रहा है मगर तहसील प्रशासन की नजर फैली गंदगी की तरफ इनायत नहीं हो रही है। गुरुवार को खबर प्रकाशित हुई कि उप जिलाधिकारी ने बुधवार को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का निरीक्षण कर अस्पताल में गंदगी देख नाराजगी व्यक्त करते हुए सुधार लाने के निर्देश दिए। सही भी है कम से कम उपजिलाधिकारी की नजरे अस्पताल की गंदगी पर इनायत तो हुई। अस्पताल आने वाले तमाम मरीज और तीमारदारों ने इसकी मुक्त कंठ से सराहना भी की होगी। होनी भी चाहिए।
अब वहीं दूसरी ओर लोगबाग सवाल दाग रहे हैं कि आखिरकार उप जिलाधिकारी की नज़रें क्यों नहीं तहसील सभागार के सीढ़ियों व ऊपरी तल के शौचालय व उसके इर्द गिर्द फैली गंदगी पर जा रही हैं। जहां गंदगी के अंबार लगे होने के साथ-साथ दरो और दीवार पर स्वच्छता अभियान की पोल खोलते हुए दिख रही है।
उपजिलाधिकारी की नजरे कब इनायत होगी?
गौरतलब हो कि देश के प्रधानमंत्री स्वच्छता के हिमायती हैं, जो निरंतर अपने संदेश के जरिए देशवासियों को स्वच्छता अभियान के लिए न केवल प्रोत्साहित करते हैं बल्कि घर आफिस इसे लेकर अपने आसपास साफ सफाई व्यवस्था पर भी जोर देते आ रहे हैं। समय-समय पर विभिन्न विभागों के सरकारी मुलाजिम भी स्वच्छता अभियान को लेकर जागरूकता कार्यक्रमों के जरिए जन जागरूकता अभियान चलाते हैं बावजूद इतने सबके बाद भी फैली गंदगी नजर न आना अधिकारियों की उदासीनता एवं स्वच्छता अभियान को ठेंगा दिखाने जैसा नजर आता है।